Vision


  • To evolve a political ideology based on scientific and modern values
  • To bring renaissance and reformation in religious and social institutions
  • To replace the secular mind setup with the dharma i.e. righteousness, rule of law
  • To abolish caste system and feudalistic structure of society
  • To promote small and medium scale entrepreneurship in india as it is the only solution to abolish such a large scale poverty.

Our Poem


राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे , एक दिया नया जलाएंगे



राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे, एक दिया  नया जलाएंगे  
नव जीवन को सृजन कर,नूतन भारत जन्मायेंगे                                                 

भूखे नंगे जन मानस को, हाँ मैंने अब तक देखा हैं
पंथ संप्रदाय पे लड़ कर , लोगो को मरते देखा हैं
क्या ऐसे जन मानस में, नव चेतना हम लायेंगे 
राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे,  एक दिया  नया जलाएंगे  

नारी का ता हाल न पूछो,  दासी सी किस्मत पाई हैं
लूट ते चीर की पीड़ा  को,  वो हर दम  सहती आई हैं 
पंथ, संप्रदाय, और धर्मग्रंथो,  ने  उसका उपहास उड़ाया हैं
क्या ऐसे दुर्बल  नारी के दम पे,  क्रांति नयी  हम ला पायंगे 
राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे,  एक दिया  नया जलाएंगे  

रुदिवादिता, आडम्बर को,  हमने सर्वदा गले लगाया हैं
भाग्य, कुंडली , ज्योतिष को,  हमने गौरव से अपनाया हैं 
वैज्ञानिक  चिंतन का हमने,  जमके उपहास उडाया हैं
जन- जन   में भद करा  के,  सामंती सोच को पनपाया हैं 
क्या ऐसे समाज में हम,  नव जाग्रति कभी ला  पायंगे 
राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे ,  एक दिया  नया जलाएंगे  

गंगा के कल कल, अविरल जल से  
अभिषेक. आचमन करना हैं
जन, गण, मन में, नव प्राण फूँक के 
भारत को अब निर्मित करना हैं
जाती, पंथ से अब उपर उठ कर
अब राष्ट्र धर्म अपनाना हैं
मानवता, करुणा की खातिर
नयी क्रांति हम लायेंगे

राष्ट्रधर्म की बलिवेदी पे ,एक दिया  नया जलाएंगे  
नव जीवन को सृजन कर , हाँ नूतन भारत जन्मायेंगे